मगरलोड @ टोमन लाल सिन्हा। भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष विकास मरकाम ने सिहावा विधानसभा के अंतर्गत मगरलोड ब्लॉक में मुख्यमंत्री स्वेच्छा अनुदान राशि में बड़ा बंदरबांट का दावा किया है। कार्यालय कलेक्टर जिला धमतरी द्वारा वित्त वर्ष 2022-23 में स्वीकृत मुख्यमंत्री स्वेच्छा अनुदान राशि प्राप्त करने वालों की सूची जारी की गई है। 103 नामों की इस सूची में कई कांग्रेसी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं के भी नाम है जिसे कोई भी देख और पढ़ सकता है। इसमें लोकप्रिय नाम तेंदूभाटा के बिसहत साहू (मगरलोड सोसायटी अध्यक्ष) नगर पंचायत मगरलोड के दो पार्षद देवेंद्र साहू और कमलेश बंजारे, दिलीप सोनी (युवा कांग्रेस अध्यक्ष), नरेंद्र निर्मलकर (अध्यक्ष सरपंच संघ एवं पठार के सरपंच) जैसे कई राजनीतिक और कांग्रेस से जुड़े लोगों के नाम शामिल है।
विधायक लक्ष्मी ध्रुव का भ्रष्ट चरित्र एक बार फिर सामने
विकास मरकाम ने इसे सरकारी राशि का दुरुपयोग बताते हुए कहा कि जिन पैसों का उपयोग क्षेत्र की जरूरतमंद और निः सहाय जनता की मदद के लिए जारी किया जाना था उसे स्थानीय विधायक की अनुशंसा पर कांग्रेसियों में बांट दिया गया। विकास मरकाम ने विधायक लक्ष्मी ध्रुव के कार्यकाल को भ्रष्ट तम कार्यकाल बताते हुए कहा गड़बड़ी भ्रष्टाचार और बंदरबांट का नया कीर्तिमान विधानसभा में रचा जा रहा है उसी का यह एक और जीता जागता उदाहरण है। कांग्रेसी कार्यकर्ताओं को मुख्यमंत्री स्वेच्छा अनुदान राशि बांटने के लिए नियम को ताक पर रख दिया गया है नियम स्पष्ट रूप से कहता है कि किसी भी राजनीतिक और धार्मिक कार्यों में लिप्त व्यक्ति या संस्था को यह राशि नहीं दी जा सकती लेकिन यह कांग्रेस की सरकार है यहां सब संभव है।
जांच और विधायक के इस्तीफे की मांग की
विकास मरकाम ने इस बंदरबांट की तत्काल जांच की मांग की है और दोषियों पर कड़ी कार्यवाही की मांग की है। उन्होंने कहा निष्पक्ष जांच तभी संभव है जब भ्रष्टाचार की प्रतिमूर्ति विधायक तत्काल अपने पद से इस्तीफा दे दें। विकास मरकाम ने कहा कांग्रेसी यह मान चुके हैं कि विधानसभा के साथ-साथ प्रदेश की सत्ता से भी उनका सूपड़ा साफ होने वाला है इसीलिए वे कांग्रेसी कार्यकर्ताओं के जेब भरने और जितना हो सके गड़बड़झाला करके कमाई करना है। लेकिन भ्रष्टाचार कितनी भी चालाकी से किया जाए छुप नहीं सकता। आज पूरी सिहावा की जनता विधायक के भ्रष्टाचार से त्रस्त है। मूलभूत सुविधाओं जैसे सड़क, बिजली, पानी, रोजगार के लिए तरस रही है। ऐसे समय मे इतना बड़ा घोटाला और बंदरबांट क्षेत्र की वंचित जनता के गाल पर तमाचा है। जनता इसका जवाब देगी लेकिन उससे पहले कानून को अपना काम ईमानदारी से कर दोषियों पर कड़ी कार्यवाही करनी चाहिए।